बिहार की राजनीति- नई सरकार बनाने का दावा पेश
नीतीश कुमार बुधवार को आठवीं बार बिहार के मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे। राज्यपाल ने शपथ ग्रहण के लिए दोपहर दो बजे का समय दिया है। पटना में राजभवन से बाहर आने के बाद नीतीश कुमार ने पत्रकारों को बताया, ‘‘हम उधर थे, जिनसे आज हमने रास्ता ख़त्म कर लिया। हमने सात पार्टियों के 164 और 1 निर्दलीय विधायकों के समर्थन का दावा पेश किया है। अब राज्यपाल पर है कि वे कब हमें सरकार बनाने का न्योता देते हैं।’’
बिहार विधानसभा के चुनाव में जदयू जनाधार के मत भाजपा को मिल गए थे। लेकिन हर जगह भाजपा के आधार के मत लोजपा को मिल गया। वह मत जदयू को नहीं मिला। इतना बड़ा धोखा हमारे सहयोगी दल ने दिया था। ऊपर से हर दिन उनके पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष , मंत्री , नेता जदयू को निचा दिखाने का काम करते थे। हर बात पर हमें 43 होने का एहसास कराते थे। भाजपा ने बिहार में महाराष्ट्र जैसे इतिहास दोहराने की असफल कोशिश की।
हर राज्य के क्षेत्रीय दल से सहयोग ले कर दिल्ली में सरकार बनाई। …और काम निकल गया तो पहचानते नहीं। सभी राज्य के क्षेत्रीय दल को समाप्त करने की साजिश रची जाने लगी। रची जाने लगी कि कैसे बिहार में नीतीश कुमार के कद को छोटा किया जाये और उन्हें सीएम की कुर्सी से हटा कर महाराष्ट्र जैसे रिमोट से चलने वाली सरकार बनाया जाये। लेकिन भाजपा यह भूल गई थी कि इस बार उसकी सामना उद्धव ठाकरे से नहीं बिहार के नीतीश कुमार से हुआ है।
नीतीश कुमार, राजद नेता तेजस्वी यादव और जदूय अध्यक्ष ललन सिंह एक ही कार में बैठकर राजभवन पहुंचे
तेजस्वी यादव ने कहा ‘‘जेपी नड्डा ने कहा कि वे क्षेत्रीय दलों को ख़त्म कर देंगे। बीजेपी सिर्फ़ लोगों को डराना और ख़रीदना जानती है। लेकिन हमसे हमारे पूर्वजों की विरासत कोई नहीं छीन सकता। हम नीतीश कुमार के साथ-साथ लालूजी को भी धन्यवाद देते हैं।”
”हम सभी चाहते हैं कि बिहार में बीजेपी का एजेंडा लागू न हो। हम सभी चाहते हैं कि बिहार में बीजेपी का एजेंडा लागू न हो, हम सभी जानते हैं कि लालू जी ने आडवाणी जी का रथ रोका था। हम किसी भी क़ीमत पर नहीं झुकेंगे।’’ उन्होंने कहा, ‘‘आज बीजेपी छोड़कर बिहार विधानसभा के सभी दलों और सदस्यों ने नीतीश कुमार को अपना नेता मान लिया है।’’
तेजस्वी यादव के अनुसार, ‘‘हिंदी पट्टी के बाहर बीजेपी का कोई गठबंधन सहयोगी नहीं है। इतिहास गवाह है कि बीजेपी ने उन दलों को बर्बाद कर दिया जिसके साथ उसने गठबंधन किया. हमने देखा कि पंजाब और महाराष्ट्र में क्या हुआ।’’
जदयू के पूर्व अध्यक्ष और केंद्रीय मंत्री रहे रामचंद्र प्रसाद सिंह (आरसीपी सिंह) ने नीतीश कुमार के एनडीए का साथ छोड़कर राजद के साथ चले जाने के फै़सले को 2020 के जनादेश के साथ विश्वासघात बताया है। सोशल मीडिया साइट ट्विटर पर उन्होंने लिखा, ‘‘बिहार की जनता के द्वारा एनडीए के पक्ष में दिए गए 2020 के जनादेश के साथ विश्वासघात!’’
महागठबंधन के साथ जाने के बाद नीतीश कुमार ने बीजेपी पर कई गंभीर आरोप लगाए। नीतीश के आरोप पर बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री और बीजेपी सांसद सुशील कुमार मोदी ने बड़ा हमला बोला है। सुशील मोदी ने कहा है कि नीतीश कुमार सफेद झूठ बोलते हैं और गठबंधन तोड़ने का बहाना खोज रहे थे।
नीतीश कुमार की पार्टी जदयू के एनडीए गठबंधन से नाता तोड़ लेने के बाद बिहार के पूर्व सीएम और हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के अध्यक्ष जीतन राम मांझी ने उन्हें अपनी पार्टी का समर्थन देने का एलान किया है। सोशल मीडिया साइट ट्विटर पर उन्होंने लिखा कि उनकी पार्टी के विधायकों ने विधायक दल की बैठक में नीतीश कुमार जी के नेतृत्व वाली सरकार के साथ रहने का फ़ैसला किया है।
हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के मौजूदा विधानसभा में 4 विधायक हैं। उन्होंने कहा, ‘‘विकसित बिहार के शिल्पीकार माननीय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जी के नेतृत्व में बिहार आगे बढ़ रहा और निरंतर आगे बढ़ेगा।’’